हज़ारीबाग मेडिकल कॉलेज को सभी सुविधाएं दिलाने के लिए हूँ प्रयासरत: जयंत सिन्हा
हज़ारीबाग। जिला के हजारीबाग मेडिकल कॉलेज में राज्य सरकार द्वारा आवश्यक सुविधाएं उपलब्ध न करा पाने के कारण शैक्षणिक सत्र को शुरू करने की अनुमति लंबित है। इस विषय पर संज्ञान लेते हुए जयंत सिन्हा ने माननीय केंद्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्री मनसुख मंडाविया से हस्तक्षेप हेतु आग्रह किया है। उन्होंने कहा कि हज़ारीबाग लोकसभा में हज़ारीबाग मेडिकल कॉलेज प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी द्वारा 2019 में क्षेत्र के लोगों को समर्पित किया गया था। झारखंड के महत्वाकांक्षी ज़िले हजारीबाग में डॉक्टरों और अन्य चिकित्सा कर्मियों को बढ़ावा देने में इसका अहम योगदान रहेगा। जयंत सिन्हा जी ने बताया कि वर्ष 2019-20 में हज़ारीबाग मेडिकल कॉलेज को एम.बी.बी.एस. विद्यार्थियों के पहले बैच की भर्ती हेतु अनुमति प्रदान की गई थी। वर्ष 2020-21 में नवीनीकरण हेतु झारखण्ड के तीन मेडिकल कॉलेज (हज़ारीबाग, दुमका व पलामू मेडिकल कॉलेज) द्वारा आवेदन दाखिल किया गया था, जिसे राष्ट्रीय चिकित्सा आयोग, मेडिकल असेसमेंट एंड रेटिंग बोर्ड द्वारा अनुमति नहीं मिल पाई थी। उस समय आवश्यक शिक्षा संकायों, सुविधाओं और इंफ्रास्ट्रक्चर की कमी को कारण बताया गया था।
उन्होंने कहा कि पहले मूल्यांकन में उजागर की गयीं इन कमियों को सुधारने का लगातार प्रयास हज़ारीबाग मेडिकल कॉलेज द्वारा किया जा रहा है। जयंत सिन्हा स्वयं इसका निरिक्षण करते आये हैं और राज्य सरकार से सुविधाएं उपलब्ध करने के लिए आग्रह करते रहे हैं। मई 2021 में कॉलेज द्वारा राष्ट्रीय चिकित्सा आयोग को एफिडेविट सौंपा गया था।जिसमें कॉलेज में हुए विकास कार्य उल्लेखित किये गए थे। इस एफिडेविट पर निर्णय अभी लंबित है।
जयंत सिन्हा ने कहा कि देश में स्वास्थ्य सुविधाओं के बुनियादी ढांचे के विकास और वृद्धि हेतु स्वास्थ्य मंत्रालय द्वारा जो प्रयास किये जा रहे हैं।उसमें अहम योगदान देने की अपार संभावनाएं हज़ारीबाग मेडिकल कॉलेज में हैं। अच्छी शिक्षा-दीक्षा प्राप्त कर इस कॉलेज के विद्यार्थी निश्चित ही स्वास्थ्य के क्षेत्र में एक अहम भूमिका निभाएंगे। अतः उन्होंने आग्रह किया है कि इस मामले का माननीय केंद्रीय मंत्री जी त्वरित संज्ञान लेते हुए और राज्य सरकार से समन्वय बनवाते हुए स्वीकृति प्रदान करवाने की कृपा करें।